दोस्तों मेरे कुछ ख्याल या अहसास जिनको में कविता का रूप देना नहीं चाहती हूँ , वो आपके सामने में यहाँ कहानी या लेख के रूप में लेकर आती हूँ ताकि में उस ख्याल या अहसास के साथ इन्साफ कर सकूँ या ये कहू की जिससे वो अपनी सही पहचान पा सके..
Wednesday, July 15, 2015
आई पी एल और प्रतिबन्ध
आई पी एल के जरिये क्रिकेट की दुनिया में जो एक नयी खेल नीति बनी वो लोगों
को बहुत पसंद आई | क्रिकेट के फटाफट
प्रारूप यानी टवेंटी टवेंटी पर आधारित प्रतियोगिता इंडियन प्रीमियर लीग (Indian Premier League) या आईपीएल
(IPL) की शुरुआत
2008 में हुई
और अपनी वाणिज्यिक सफलता व लोकप्रियता के बलबूते पर यह दुनिया का प्रमुख क्रिकेट आयोजन बन गया.
अब तक आठ आईपीएल हो चुकी हैं. 2015 में इसका आठवां संस्करण खेला गया
जिसमें मुंबई इंडियंस विजेता रही. इसका आयोजन भारतीय क्रिकेट नियंत्रण
बोर्ड या बीसीसीआई करता है. यह आयोजन आमतौर पर भारत के विभिन्न शहरों में अप्रैल
से मई के बीच होता है. इसमें भाग लेने वाली टीमों में भारतीय व विदेशी खिलाड़ी शामिल
होते हैं. भारतीय टीम में मौका नहीं पाने वाले घरेलू खिलाडियों को भी इसमें मौका
मिलता है| आईपीएल
और विवाद का चोली दामन का साथ है | मैच फिक्सिंग, स्पाट फिक्सिंग, आपसी खींचातानी , सटोरियों का दखल, खिलाड़ियों पर जोर जबरदस्ती के आरोप.. अनेक कारणों से
आईपीएल का हर सत्र चर्चा में बना रहता है. आईपीएल के इस पूरे ड्रामे में दो नयी
फ्रेंचाइजी का बनना व खत्म होना, सुनंदा पुष्कर की मौत, ललित मोदी की विदाई, स्पाट फिक्सिंग में अनेक नामी खिलाड़ियों का शामिल होना
शामिल है. एक बार तो इसके बंद होने तक के कयास लगाए जाने लगे लेकिन कहते हैं कि
इसमें इतने लोगों को कारोबारी, व्यक्तिगत हित जुड़े हैं कि कोई नहीं चाहता कि यह बंद हो. क्रिकेट के चेहरे पर एक सुनहरा रंग आई
पी एल के माध्यम से चढ़ा और लोगों को ये रंग बहुत भाया| पर इस सुनहरी चमक को कुछ
लोगो ने चुराने के लिए जो कृत्य किये वो निंदनीय है | चेन्नई सुपरकिंग्स, दिल्ली डेयरडेविल्स, किंग्स इलेवन पंजाब, कोलकाता नाइटराइडर्स, मुंबई इंडियंस, राजस्थान रायल्स, रायल चैंलेंजर्स बेंगलूर व डेक्कन चार्जर्स आई पी एल में
भाग लेने वाली टीमे हैं | मंगलवार को आईपीएल सट्टेबाजी में लोढ़ा समिति
ने राज कुंद्रा और मयपप्न पर आजीवन प्रतिबन्ध लगा दिया |
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